mata ka katyayni roop
navratri, maa Durga, माता रानी का कात्यायनी रूप
माता रानी का छठा रूप है कात्यायनी रूप क्योंकि इन्होंने कात्य गोत्र के महर्षि कात्यायन के यहां पुत्री रूप में जन्म लिया। माता के इस रूप में
इनकी चार भुजाएं हैं। दाईं ओर के ऊपर वाला हाथ अभय मुद्रा में है और नीचे वाला हाथ वर मुद्रा में। बाईं ओर के ऊपर वाले हाथ में खड्ग है और नीचे वाले हाथ में कमल का फूल है। माता के इस रूप में भी उनका वाहन शेर है।
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चामुंडा माता की प्राचीन मूर्ती ,chamunda mata statue,8th century odisha museum
Thursday, 01 Jan, 1970
मंदिर के बाहर आके सीढ़ियों पर क्यूँ बैठें ??सही ज्ञान ,culture of india
Thursday, 01 Jan, 1970
मंदिर के बाहर आके सीढ़ियों पर क्यूँ बैठें ??सही ज्ञान ,culture of india
Thursday, 01 Jan, 1970
वेदों का महत्त्व . importance of vedas,
Thursday, 01 Jan, 1970
लकड़ी की खड़ाऊँ पहनने के पीछे हमारे ऋषि मुनि का कोई वैज्ञानिक कारण था ?
Thursday, 01 Jan, 1970



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